बीकानेर। शांति और अहिंसा विभाग द्वारा दो दिवसीय जिला स्तरीय गांधी दर्शन प्रशिक्षण शिविर शुक्रवार को रवींद्र रंगमंच पर शुरू हुआ।

शिविर के उद्घाटन समारोह में जिला कलक्टर भगवती प्रसाद कलाल ने कहा कि गांधी दर्शन समाज में शांति स्थापना का उपकरण है। उन्होंने कहा कि मानव की मूल प्रकृति सात्विक है, गांधीजी ने हमें सात्विक प्रकृति से जीवन जीने की कला सिखाई। गांधी दर्शन समाज में  प्रेम, शांति, सद्भावना के विचार को और मजबूत बनाता हैं। उन्होंने कहा कि सभ्यता का आधार मानव की सामूहिक शक्ति है और विकास का आधार शांति है। माहत्मा गांधी शांति के अग्रदूत थे।

जिला कलक्टर ने कहा कि इस शिविर का उद्देश्य गांधी के जीवन दर्शन को प्रत्येक व्यक्ति तक पहुंचाना है जिससे समाज में समरसता, सद्भावना और सोहार्द स्थापित हो सके। उन्होंने कहा कि प्रशिक्षण के दौरान प्रतिभागी गांधी दर्शन के अंत्योदय सिद्धान्त पर आधारित राज्य सरकार की जनकल्याणकारी योजनाओं की जानकारी लें और उन योजनाओं से अधिकाधिक पात्र लोगों को जोड़ने में अपनी जिम्मेदारी निभाएं।

कार्यक्रम में गांधीवादी विचारक मनोज ठाकरे ने कहा कि भारत धर्म, जाति, भाषा और सांस्कृतिक विविधता वाला देश है, विविधतापूर्ण समाज का अस्तित्व और विकास शांति पर टिका है।  राजस्थान सरकार ने शांति और अहिंसा विभाग बनाकर समाज में अच्छी सोच पैदा करने की दिशा में एक अभिनव पहल की है। उन्होंने कहा कि गांधीजी प्रेम का समाज बनाते हैं, यदि हमें प्रेम चाहते तो हमें गांधीजी के जीवन दर्शन को अपनाना होगा। जब लोगों की सोच शांत, विवेकशील और सकारात्मक होगी तभी हर व्यक्ति का उत्थान हो सकेगा।

अतिरिक्त जिला कलक्टर (नगर) पंकज शर्मा ने स्वागत उद्बोधन में कहा कि शिविर में अगले दो दिन में गांधी दर्शन के विभिन्न सैद्धांतिक और व्यावहारिक पहलूओं पर चर्चा की जाएगी। उन्होंने कार्यक्रम की रूपरेखा की जानकारी दी और गांधी जी के जीवन दर्शन का अधिक से अधिक प्रचार -प्रसार करने की बात कही।

गांधी पार्क में सर्वधर्म प्रार्थना सभा का होगा आयोजन

शिविर के पहले दिन सायं 6.30 बजे से गांधी पार्क में सर्वधर्म प्रार्थना सभा का आयोजन होगा। जिसमें पुखराज एंड पार्टी व गाइड कैडट्स की ओर से गांधीजी के प्रिय भजनों की प्रस्तुति दी जाएगी। शिविर के दूसरे दिन शनिवार को श्रमदान सहित अन्य सत्र आयोजित होंगे।