शिक्षा मंत्री डॉ. बी. डी. कल्ला ने मुख्यमंत्री श्री अशोक गहलोत द्वारा शुक्रवार को राज्य विधानसभा में प्रस्तुत प्रदेश के वर्ष 2023—2024 के बजट को देश और प्रदेश में जनता के प्रति सरकारों की संवेदनशीलता और जवाबदेही की दिशा में मील का नया पत्थर बताया है।

डॉ. कल्ला ने अपनी प्रतिक्रिया में बताया कि यह बजट केवल प्रदेश ही नहीं बल्कि देश के इतिहास में भी केन्द्र या राज्य सरकारों के स्तर पर अब तक प्रस्तुत बजट की तुलना में युवा, महिला एवं किसानों के सशक्तीकरण, सामाजिक सुरक्षा, शैक्षणिक प्रगति तथा लोक कला एवं कलाकारों के संरक्षण सहित गांव, गरीब और मजदूरों के कल्याण की घोषणाओं के लिहाज से अभूतपूर्व हैं। इससे सभी वर्गों के उत्थान के साथ समावेशी विकास, महंगाई पर नियंत्रण और औद्योगिक क्रांति की राह प्रशस्त होगी।

शिक्षा मंत्री ने बताया कि बजट में शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्रों में एक—एक हजार महात्मा गांधी अंग्रेजी माध्यम स्कूल और खोलने तथा आरटीई के तहत कक्षा 1 से 12 तक के सभी छात्रों को भी अब नि:शुल्क शिक्षा के दायरे में लाए जाने की घोषणा से हमारे नौनिहालों के सपनों को बेहतर तरीके से साकार करने में मदद मिलेगी।

डॉ. कल्ला ने बताया कि मुख्यमंत्री चिंरजीवी योजना में नि:शुल्क ईलाज की सीमा 10 लाख से बढ़ाकर 25 लाख रुपये करने, महंगाई से राहत के लिए 19 हजार 600 करोड़ रुपये का राहत पैकेज, आमजन पर कोई भी नया कर नहीं लगाने, सोशल सिक्योरिटी इंवेस्टमेंट प्रमोशनल स्कीम 2023 के लिए 100 करोड़ रुपये का फंड बनाने तथा 76 लाख परिवारों को 500 रुपये में गैस सिलेंडर उपलब्ध कराने जैसी बड़ी घोषणाएं ऐतिहासिक कदम है। उन्होंने कहा कि हमारी सरकार बजट घोषणाओं को पूरी शिद्दत और ईमानदारी के साथ लागू करने के लिए जानी जाती है प्रदेश में 85% बजट घोषणाओं को पूरा करना सरकार की संकल्प शक्ति का परिचायक है।