जयपुर। प्रदेश के कोटा ​जिले में मासूम बच्चों की मौत को लेकर सियासत तेज हो गई है। नवजातों की मौतों पर बीजेपी और कांग्रेस आमने-सामने हो गई है। स्वास्थ्य मंत्री रघु शर्मा ने कहा कि कोटा के मासूम बच्चों की मौत पर भाजपा केवल राजनीति कर रही है। इन माैताें की जांच के लिए भाजपा के प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनियां ने जिन दो पूर्व मंत्रियों की कमेटी बनाई हैं, उन्हीं के कार्यकाल में सबसे ज्यादा मौतें हुई हैं। पार्टी की अपनी जांच में इन्हें शामिल कर पूनियां ने केवल प्रदेश की जनता के साथ क्रूर मजाक करने का काम किया है। जिसे जनता कभी माफ नहीं करेगी। स्वास्थ्य मंत्री के अनुसार भाजपा के शासनकाल में 2014 से 2018 के बीच सबसे अधिक मौतें हुई हैं।

बीजेपी के राज में हुई थी ज्यादा मौतें
इस दौरान भाजपा के राजेंद्र राठौड़ और कालीचरण सराफ चिकित्सा मंत्री रहे हैं। शर्मा के अनुसार 2014 में 1198, 2015 में 1260, 2016 में 1193, 2017 में 1027 और 2018 में 1005 में शिशुओं की मौत हुई थी। प्रदेश में एक साल के भीतर कांग्रेस सरकार के कार्यकाल 2019 में सबसे कम 940 मौतें हुई है। यह संख्या भी कांग्रेस के लिए दुखद है, लेकिन भाजपा बेवजह इसे तूल दे रही है। उसे ओछी राजनीति से बाज आना चाहिए। कांग्रेस सरकार की ओर से व्यवस्थाओं को पटरी पर लाने का काम किया जा रहा है, जिससे राज्य के लोगों को अधिक से अधिक सुविधाएं मिल सकें।

राजेन्द्र राठौड़ ने आंकड़ों पर किया पलटवार
विधानसभा में उपनेता प्रतिपक्ष और पूर्व स्वास्थ्य मंत्री राजेन्द्र राठौड़ ने मंत्री रघु शर्मा के आंकड़ों पर पलटवार किया है। राठौड़ के अनुसार 2013 में भाजपा सरकार को पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार की ओर से प्रति हजार पर 47 मृत्यु दर सौगात में मिली थी। जिसे भाजपा ने अपने शासनकाल में वर्ष 2014, 2015, 2016, 2017 व 2018 तक क्रमश : 46, 43, 41, 41 व 40 की निरतंर कमी कर अपने चिकित्सकीय लक्ष्यों को प्राप्त किया।

कांग्रेस ने जनता को चिकित्सा सुविधाओं से किया महरूम
साल 2015 में मदर मिल्क बैंक की अवधारणा को भाजपा शासन में पूरा कर पहली बार प्रदेश में 3,200 विशेषज्ञ चिकित्सों, 11 हजार पदों पर नर्सिंग, 5 हजार पदों पर लैब टेक्नीशियन व रेडियोग्राफरों की नियमित भर्ती कर चिकित्सकीय अव्यवस्थाओं को सुधारने का कार्य किया। भाजपा के कालखंड में शिशु मृत्यु दर अधिक हुई थी। यह कह कर मुख्यमंत्री व स्वास्थ्य मंत्री प्रदेश में जर्जर हुई चिकित्सा व्यवस्था पर पर्दा डाल रहे हैं और नवजातों के शवों पर राजनीति करने का घृणित कार्य कर रहे हैं। कांग्रेस सरकार ने भाजपा द्वारा वर्ष 2015 में लागू की गई की भामाशाह बीमा योजना बंद कर दी। केंद्र की आयुष्मान भारत योजना काे विकृत रूप देकर लोगों को चिकित्सा सुविधाओं से महरूम किया है।

राजे ने भी कसा था तंज
राजस्थान की पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने शनिवार को सीएम गहलोत के उस बयान पर चुटकी ली जो उन्होंने कोटा में बच्चों की मौत पर उठाए जा रहे सवालों के दौरान कही थी। राजे ने कहा कि प्रदेश के मुखिया अशोक गहलोत का ‘बच्चों की मौत तो होती रहती है, इसमें कोई नई बात नहीं है।’ वाला बयान सुनकर मन बहुत आहत हुआ। ये कथन उन शोकाकुल माताओं-बहनों के ज़ख़्मों पर नमक जैसा है जिनकी कोख स्थित जेके लोन अस्‍पताल में सरकारी लापरवाही के कारण सूनी हो गई है।