राष्ट्रीय राजधानी नई दिल्ली के निकट चल रहे सूरजकुंड अंतरराष्ट्रीय क्राफ्ट मेला में आज से सांस्कृतिक प्रस्तुतियों का सुरूर चढ़ने वाला है। 18 दिवसीय अंतरराष्ट्रीय क्राफ्ट मेले में आज शाम राजस्थानी लोक कलाकारों की सांस्कृतिक प्रस्तुति होगी। इस सांस्कृतिक संध्या के दौरान राजस्थान के विभिन्न अंचल के कलाकार कालबेलिया, अलगोजा, रीम भवाई, खारी व कांग्वारिया नृत्य के साथ ही भपंग तथा खड़ताल वादन आदि कार्यक्रम प्रस्तुत करेंगे। सूरजकुंड अंतरराष्ट्रीय क्राफ्ट मेला विश्व प्रसिद्ध ख्याति मेला है जिसकी शुरूआत 2 फरवरी से हो चुकी है।
राजस्थान पर्यटन विभाग की ओर से सूरजकुंड अंतरराष्ट्रीय क्राफ्ट मेला हर साल आयोजित किया जाता है। सांस्कृतिक संध्या का यह दौर यही समाप्त नहीं होगा बल्कि आगे भी यहां राजस्थानी संस्कृति की अदभूत छटा देखने का मौका मिलेगा। राजस्थान पर्यटन की ओर से 15 फरवरी को यहां एक और सांस्कृतिक संध्या आयोजित होगी।
इस संबंध में राजस्थान पर्यटन सूचना केंद्र की अतिरिक्त निदेशक डॉ. गुंजीत कौर ने बताया कि 15 फरवरी को एक और सांस्कृतिक संध्या का यहां आयोजन किया जाएगा जिसमें राजस्थान के घुमंतू कलाकार कच्छी घोड़ी, कठपुतली, अलगोजा, खारी, भपंग के साथ अन्य लोक नृत्यों का प्रदर्शन कर सैलानियों का मनोरंजन करेंगे। डॉ. कौर ने यह भी बताया कि बताया कि राजस्थान के घुमंतू कलाकारों ने सूरजकुंड अंतरराष्ट्रीय क्राफ्ट मेले में कच्छी घोड़ी, कठपुतली, अलगोजा, खारी, भपंग आदि प्रदर्शनों से मेला परिसर में धूम मचा रखी है।
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