जयपुर। प्रदेश के बांसवाड़ा जिले में एक अनूठी शादी का मामला सामने आया है। यहां पर एक युवक ने एक ही मंडल पर दो दुल्हनों के साथ सात फेरे लिए। यह पूरी पूरी रीति-रिवाज के साथ संपन्न हुई है। यह अनोखा मामला आदिवासी बाहुल्य बांसवाड़ा शहर से करीब 70 किलोमीटर दूर स्थित आनंदपुरी पंचायत के कड़दा गांव का है। यहां एक युवक ने एक साथ दो युवतियों से विवाह किया है। आपको बता दें कि आदिवासी अंचल में स्थानीय निवासियों के एक से अधिक पत्नी रखने की एक सामान्य प्रथा है। लेकिन एक ही मंडप में दो युवतियों से शादी करने के कारणा यह मामला चर्चा का विषय बना हुआ है।

दोनों दुल्हन अलग अलग गांव की
खबरों के अनुसार, 24 अप्रैल को कड़दा गांव निवासी दिनेश की शादी हुई। युवक ने जिन दो युवतियों से शादी कि वे दोनों अलग- अलग गांव की रहने वाली हैं। एक का नाम सीता है तो दूसरी का नाम गीता है। इस शादी के दौरान समाज के वे सभी लोग मौजूद थे जो सामान्य रूप से शादियों में हुआ करते हैं। इस विवाह से किसी को आपत्ति भी नहीं थी। शनिवार रात को यह शादी पूरे परंपरागत रीति रिवाज के साथ हुई। इसमें युवक ने दोनों युवतियों के साथ एक ही मंडप में फेरे लिए। आदिवासी अंचल में प्रचलित चलन में एक चलन 1 से ज्‍यादा पत्नी रखने का भी है।

पूरे परंपरागत रीति रिवाज के साथ हुई शादी
शादी के लिए दोनों दुल्हन को सजाया और संवारा गया। उनके सिर पर सेहरे बांधे गए। आदिवासी बहुल क्षेत्र में आजकल लाइट वाले सेहरे बांधे जाने लगे हैं। शनिवार रात को यह शादी पूरे परंपरागत रीति रिवाज के साथ हुई। इसमें युवक ने दोनों युवतियों के साथ एक ही मंडप में फेरे लिए। आदिवासी अंचल में प्रचलित चलन में एक चलन बहु पत्नी रखने का भी है।

आदिवासियों में यह परंपरा भी है खास
आपको बता दें कि आदिवासी व्यक्ति को यदि कोई महिला पसंद आ जाती है तो दोनों एक- दूसरे के साथ रहने के लिए राजी हों तो महिला अपने पहले पति और परिवार को छोड़कर दूसरे के साथ रहने के लिए चली जाती है। इसे यहां नातरे कहा जाता है। इसी नातरे प्रथा के तहत यहां पर बड़ी संख्या में ऐसे लोग हैं। जिनकी एक से ज्यादा पत्नियां हैं। ऐसा कहा जाता है कि क्षेत्र में इससे पूर्व 2014 में भी इस तरह की शादी हुई थी। उसमें भी एक युवक ने एक ही मंडप में दो युवतियों से ब्‍याह किया था।