स्वाइन फ्लू, इस बीमारी का नाम एक भयानक कहर बनकर राजस्थान में टूटा है। लगातार बदलते मौसम और घटती-बढ़ती ठंड के चलते यह बीमारी दिन प्रतिदिन अपने पैर और मजबूती से बसारती जा रही है। हालात ऐसे हैं कि प्रदेश में स्वाइन फ्लू से संक्रमित मरीजों की संख्या 2700 से पार जा चुकी है। वहीं 100 लोग अपनी जान से हाथ भी धो चुके हैं। कुछ सरकार की अनदेखी और थोड़ी चिकित्सा विभाग की सुस्ती के चलते यह संख्या हर रोज बढ़ती जा रही है। जोधपुर और जयपुर में हालात सबसे ज्यादा खराब है। जोधपुर में 27 लोगों की मौत हुई है।
बात करें प्रदेश की राजधानी जयपुर की जहां पूरी सरकार बैठती है, जहां पिछले 38 दिनों में स्वाइन फ्लू के 1100 और पिछले केवल 7 दिनों में 170 से अधिक मामले सामने आए हैं। 5 लोगों की मौत भी हुई है। शहर में स्वाइन फ्लू के संक्रमण में पहले नंबर पर सोड़ाला इलाका है। दूसरे नंबर पर वॉल सिटी (परकोटा) और झोटवाड़ा तीसरे नंबर पर है। साल 2019 के केवल 38 दिनों ने पिछले 10 सालों का स्वाइन फ्लू का रिकॉर्ड तोड़ दिया है। यह खुलासा शहर में स्वाइन फ्लू के प्रतिदिन जांच में आने वाले पॉजिटिव आंकड़ों के आधार पर किया गया है।
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