राजस्थान विधानसभा चुनाव के लिए उम्मीदवारों के चयन के बाद नामांकन का दौर भी शुरू हो गया है। ऐसे में पूर्व मुख्यमंत्री और भारतीय जनता पार्टी की फायर ब्रांड नेता वसुंधरा राजे 4 नवंबर को झालावाड़ में अपना नामांकन पत्र दाखिल करेंगी। जानकारी के मुताबिक, केंद्रीय नेतृत्व की ओर से अमित शाह या जेपी नड्डा शामिल होंगे नामांकन कार्यक्रम में। साथ ही नामांकन के बाद एक बड़ी रैली का भी आयोजन किया जाएगा।

दो बार राजस्थान की मुख्यमंत्री रह चुकीं वसुंधरा राजे सिंधिया 4 नवंबर को अपना नामांकन पत्र दाखिल करेंगी, जिसकी तैयारियां जोरों पर चल रही हैं। राजे की नामांकन रैली में भारी भीड़ जुटने की उम्मीद है। हालांकि, हर बार देखा जाता है कि राजे और उनके समर्थक बड़ी संख्या में नामांकन स्थल पर पहुंचते हैं, जिसके बाद राजे अपना नामांकन दाखिल करती हैं। फिलहाल, इस बार बीजेपी भले ही वसुंधरा राजे को फ्रंट पर रखकर चुनावी मैदान में नहीं है, लेकिन इतना तय है कि राजस्थान में बीजेपी की नंबर-1 नेता अभी भी वसुंधरा ही हैं। राजे की लोकप्रियता पूरे प्रदेश और खासकर महिलाओं में दिख रही है।

वसुंधरा राजे सिंधिया के नामांकन दाखिल करने से जुड़े कई ऐसे तथ्य हैं, जो लोगों को हैरान कर देते हैं। यानि कि जब से वसुंधरा राजे सिंधिया पहली बार मुख्यमंत्री बनीं तब से लेकर अब तक जब वे झालरापाटन विधानसभा से पांचवीं बार विधायक के लिए नामांकन दाखिल करेंगी, पिछले 20 साल के सफर में कुछ बातें ऐसी हैं जो राजे से लगातार जुड़ी रही हैं।

आपको बता दें कि वसुंधरा राजे शाहनवाज हुसैन को अपने लिए ‘लकी’ मानती हैं। पहली बार नामांकन भरते समय भी शाहनवाज हुसैन वसुंधरा के साथ थे और राजे ने उनके पैन से नामांकन दाखिल किया था। इसके बाद वह चुनाव जीतीं और राजस्थान की मुख्यमंत्री का पद संभाला। वसुंधरा शाहनवाज हुसैन के पैन को अपने लिए लकी मानती हैं। तब से वसुंधरा राजे यही क्रम दोहरा रही हैं। इस बार भी चर्चा ये है कि लकी पैन के तौर पर शाहनवाज हुसैन और उनका पैन वसुंधरा राजे के साथ होंगे।