जयपुर। इन दिनों प्रदेश में पंचायतीराज चुनाव को लेकर राजनीतिक माहौल गर्म है। पंचायतीराज चुनाव में टिकट बांटने को लेकर कांग्रेस में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के नजदीकी नेताओं में भी आपस में कलह का मामला सामने आया है। मुख्यमंत्री गहलोत के गृह जिले जोधपुर में टिकट वितरण को लेकर कांग्रेस में कलह बढ़ती रहती है। गहलोत के नजदीकी नेता और पाली से पूर्व सांसद बद्री जाखड़ ने जोधपुर प्रभारी रामलाल जाट पर टिकटों में पक्षपात करने का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि रामलाल जाट ने नहीं जीतने वालों को उम्मीदवार बनाने और गलत ढंग से टिकट दिया गया।
गलत तरीके से दिया गया टिकट
पाली से पूर्व सांसद बद्री जाखड़ का कहना है कि अशोक गहलोत की सोच है कि सबको एक राय से टिकट मिले, लेकिन प्रभारी पक्षपात कर लेते हैं। हमारे यहां प्रभारी रामलाल जाट और प्रशांत बैरवा आए थे। उन्होंने दबाव में ऐसा गलत काम किया। नहीं जीतने वालों को टिकट दे दिए। रामलालजी को सोचना चाहिए कि हमारा क्षेत्र भोपालगढ़ है। मेरे 2 जिला परिषद टिकट और 12 पंचायत समिति सदस्यों के क्षेत्र आते हैं। हमने हमारे इलाके के हिसाब से टिकट मांगे, लेकिन भोपालगढ़ क्षेत्र के सभी टिकट विधायक दिव्या मदेरणा को दे दिए।
नारायण बेड़ा की पत्नी के टिकट पर सवाल
कांग्रेस के पूर्व सांसद जाखड़ ने कहा कि नारायण बेड़ा अभी तो कांग्रेस में आए हैं, उनका बेटा आज भी बीजेपी का मंडल सदस्य है। बीजेपी के मंडल सदस्य की पत्नी को कांग्रेस का टिकट दे दिया। वहीं, कांग्रेस नेता अशोक चौधरी का टिकट काट दिया। दूसरा टिकट वार्ड 23 से भी गलत दिया।
कांग्रेस में कई जगह टिकटों पर विरोध
कांग्रेस में जोधपुर के अलावा सवाईमाधोपुर, भरतपुर और जयपुर में भी टिकटों को लेकर अंदरखाने विरोध सामने आया है। सवाईमाधोपुर जिले में तो कांग्रेस विधायक अशोक बैरवा के भाई की पत्नी ने कांग्रेस से टिकट नहीं मिलने पर बागी होकर निर्दलीय ही नामांकन भर दिया था। अंदरखाने और भी बहुत जगहों पर विरोध है। कांग्रेस के सामने अब भितरघात का खतरा है।