राजस्थान की पहली लॉयन सफारी के दीदार को अब कुछ ही दिनों का इंतजार भर रह गया है। इसी कड़ी में आज मुख्यमंत्री वसुन्धरा राजे ने सीएमओ से रिमोट का बटन दबा नाहरगढ़ जूलॉजिकल पार्क में लॉयन सफारी का उदघाटन किया। अक्टूबर माह के पहले सप्ताह में वन्यजीव सप्ताह के दौरान (2-8 अक्टूबर के बीच) इसे आमजन व पर्यटकों के लिए खोल दिया जाएगा। इसके उद्घाटन के साथ ही पर्यटन की दृष्टि से गुलाबी नगर जयपुर के सुनहरे इतिहास में एक नया और अहम अध्याय जुड़ गया है। निश्चित तौर पर इससे शहर में पर्यटकों की संख्या में खासा असर देखने को मिलेगा।
नाहरगढ़ स्थित जयपुर लॉयन सफारी की सबसे खास बात यह है कि यह सफारी सीमित समय के लिए नहीं होगी बल्कि पर्यटक सालभर इसका लुफ्त उठा सकेंगे।
फिलहाल 3 शेरों की गूजेंगी दहाड़
लॉयन सफारी के लिए नाहरगढ़ जूलॉजिकल पार्क से तीन शेर तेजस, तारा और त्रिपुर को इसमें शिफ्ट कर दिया है। इन्हें लगभग 10 दिनों तक पिंजरे में रखा जाएगा। यहां एसियाटिक नस्ल के शेरों का संरक्षण होगा। अन्य शेर गुजरात के गिर अभ्यारण से लाने के प्रयास किए जा रहे हैं।
36 हैक्टेयर में फैली है लॉयन सफारी, 4 करोड़ लागत
लॉयन सफारी 36 हैक्टेयर क्षेत्र में फैली है। यहां घूमने के लिए 4 मिनी बसे लगाई जाएंगी। सभी बसें पूरी तरह कवर्ड होंगी। प्रत्येक बस को सफारी के लिए एक से डेढ़ घंटे का समय दिया जाएगा। इस पूरे प्रोजेक्ट पर 4 करोड़ रुपए की लागत आयी है जिसे जेडीए के सहयोग से विकसित किया है। पिछले साल लॉयन सफारी का निर्माण कार्य शुरू हुआ था। इसके तहत प्रवेश द्वार के लिए 2 दरवाजे बनाए गए हैं। करीब 3 किमी लंबी और साढ़े पांच मीटर ऊंची फैंसिंग के साथ 3 वाटर बॉडी, पानी का टैंक, चौकी, रात के समय शेरों को रखने के लिए 10 नाइट शैल्टर और वेटेनरी कम्पाउंड जैसी सुविधाएं विकसित की गई हैं।
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