जयपुर। जम्मू—कश्मीर में आतंकवादियों से लोहा लेते हुए अजमेर जिले के रूपनगढ़ क्षेत्र भदूण गांव निवास हेमराज जाट शहीद हो गए। हेमराज के घर जैसे ही यह सूचना मिली तो परिजन स्तब्ध रह गए। एक बार तो उन्हें यकीन नहीं हुआ कि उनका लाल अब इस दुनिया में नहीं रहा। मंगलवार को शहीद का अंतिम संस्कार पूरे सैन्य समान के साथ पैतृक गांव भदूण में किया गया। हेमराज के भतीजे चेतन ने उन्हे मुखाग्नि दी। इस दौरान बड़ी संख्या में लोग शहीद हेमराज को श्रद्धांजली देने पहुंचे। जिसमें विधायक सतीश पूनिया भी शामिल रहे। अंतिम संस्कार से पहले हेमराज जाट को गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया। इस दौरान आर्मी के कई अधिकारी मौके पर मौजूद रहे।
कश्मीर के पुंछ—राजौरी में थे तैनात
कश्मीर के राजौरी-पुंछ सेक्टर में रविवार रात हुई गोलीबारी में दुश्मन से लोहा लेते शहीद जवान हेमराज शहीद हुए। दो साल पहले ही 23 वर्षीय हेमराज भारतीय थल सेना में शामिल हुए थे जो कश्मीर के पुंछ-राजौरी में तैनात रहे। बता दें कि रविवार को एलओसी पर मोर्टार के गोले दागे गए, जिसमें जवान हेमराज जाट शहीद हो गए थे। वे 4 बटालियन में ग्रेनेडियर के तौर पर पुंछ में तैनात थे।
सीएम गहलोत ने व्यक्त की संवेदना
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने भारतीय सेना के जवान हेमराज जाट के शहीद होने पर संवेदना व्यक्त की है। उन्होंने अपने संवेदना संदेश में कहा कि ग्रेनेडियर हेमराज जाट ने देश के लिए शहादत देकर अपने परिवार के साथ ही पूरे प्रदेश और देश का सिर गर्व से ऊंचा किया है। अपने संदेश में मुख्यमंत्री ने ईश्वर से दिवंगत आत्मा की शांति तथा शोक संतप्त परिजनों को यह आघात सहन करने की शक्ति प्रदान करने की प्रार्थना की है।
चार भाइयों में सबसे छोटे
हेमराज चार भाइयों में सबसे छोटे थे। उनसे बड़े भाई पूसाराम, रामेश्वर, गिरधारी, बंशी, गोपाल व बहन सोहनी देवी हैं। शहीद हेमराज जाट का जन्म 5 जुलाई 1996 को हुआ था। जाट की प्रारंभिक पढ़ाई गांव में ही हुई थी। उसके बाद किशनगढ़ व अजमेर में आगे की पढ़ाई की। वह 22 मार्च 2017 को सेना में भर्ती हुए थे।