राजस्थान सरकार द्वारा प्रदेशभर में संचालित एकीकृत एम्बूलेंस सेवा देने वाली जीवन वाहिनी ‘104-जननी एक्सप्रेस’ एम्बूलेंस गर्भवती महिलाओं, प्रसूताओं एवं धात्री माताओं के लिए वरदान साबित हो रही है। राज्य सरकार की इस सेवा के अंतर्गत वर्तमान में कुल 586 जननी एम्बूलेंस उपलब्ध कराकर विशेषकर ग्रामीण क्षेत्रों की गर्भवती महिलाओं, प्रसूताओं एवं शिशुओं को निःशुल्क परिवहन सेवा उपलब्ध करवायी जा रही है। सबसे खास बात यह है कि जब से जननी एक्सप्रेस सेवा को ‘104 टोल फ्री‘ सेवा से जोड़ा गया है तब से इसके प्रभावी परिणाम प्राप्त हो रहे हैं। अब अधिक संख्या में प्रदेश के लोग इस सुविधा का लाभ उठा पा रहे हैं।
586 जननी एक्सप्रेस वाहनों ने जनवरी तक 73 हजार 497 फेरे किए
स्वास्थ्य सचिव एवं मिशन निदेशक एनएचएम नवीन जैन ने बताया कि जननी एक्सप्रेस द्वारा गर्भवती महिलाओं, प्रसूताओं एवं 12 वर्ष तक की उम्र के शिशुओं को चिकित्सा संस्थान से घर अथवा घर से चिकित्सा संस्थान तक लाने-लेजाने एवं उच्च संस्थान में रेफर किये जाने की सेवा उपलब्ध करवाती है। उन्होंने बताया कि इस वर्ष इन 586 जननी एक्सप्रेस वाहनों द्वारा जनवरी 2018 तक 73 हजार 497 फेरे किए गए हैं, जबकि दिसम्बर 2016 तक इनकी संख्या कुल 36 हजार 514 फेरे प्रति माह ही थी। यह बढ़ोतरी औसतन 2 फेरे प्रतिदिन प्रति वाहन से बढ़कर 4.05 रही है।
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‘108 अथवा 104’ टोल फ्री नम्बर डॉयल करने निःशुल्क उपलब्ध होती है परिवहन सेवा
स्वास्थ्य सचिव एवं मिशन निदेशक जैन ने बताया कि प्रदेश के जोधपुर, बीकानेर, झुंझुनु, जैसलमेर, जालौर, नागौर व बाड़मेर में जननी एक्सप्रेस के फेरों की संख्या में वृद्धि तीन गुणा से भी अधिक दर्ज की गई है। उन्होंने बताया कि प्रदेशभर में ‘108 अथवा 104’ टोल फ्री नम्बर डॉयल करने पर प्रसव संबंधी सेवाओं अथवा नवजात शिशुओें को चिकित्सकीय उपचार हेतु निःशुल्क परिवहन सेवा उपलब्ध होती है। बता दें, खासतौर पर ग्रामीण इलाकों में जननी एक्सप्रेस सेवा राज्य के लोगों के लिए बेहद लाभकारी साबित हो रही है।