राजस्थान के जालोर जिले में जालोर महोत्सव-2018 की शुरूआज आज से हो रही है। तीन दिवसीय यह फेस्टिवल 17 फरवरी तक चलेगा। इस महोत्सव का आयोजन शहर के स्टेडियम प्रांगण में कराया जा रहा है। जालोर महोत्सव जिला प्रशासन और जालोर विकास समिति की ओर से आयोजित किया जाता है जिसमें लगातार तीन दिनों में तक राजस्थानी संस्कृति से जुड़े विविध कार्यक्रमों का आयोजन होगा। जालोर फेस्टिवल की शुरूआत 2013 से हुई थी। इस बार जालोर महोत्सव का यह छठा सीज़न है। जालोर विकास समिति की ओर से प्रेरित होकर यहां के निवासी सभी कार्यक्रम प्रायोजित करते हैं जिसमें सैंकड़ों देशी के साथ विदेशी पर्यटक भी शामिल होते हैं। यहां सांस्कृतिक कार्यक्रमों के अलावा कई तरह की प्रतियोगिताएं भी आयोजित कराई जाती हैं।
जालोर महोत्सव-2018 में इस बार सांस्कृतिक कार्यक्रम व प्रतियोगिता के साथ राष्ट्रीय कवि सम्मेलन का भी आयोजन होगा। इस दौरान गैर, चंग, महिलाओं का लून नृत्य और पुरुषों का ढोल नृत्य आकर्षण का केन्द्र बनेंगे। जालोर महोत्सव-2018 के समापन वाले दिन कव्वाली के जरिए राजस्थानी संस्कृति का जीवंत दिदार भी कराया जाने वाला है।
जालोर के दर्शनीय स्थल:-
- जालोर का दुर्ग (सोनलगढ़ दुर्ग)
- तोपखाना
- सिरे मंदिर
- सुन्धा माता मंदिर
- लोहियाणागढ़ दुर्ग
- वाराहश्याम मंदिर
- सेवाड़ा का शिव मंदिर
- आशापुरी माता मंदिर
- भाद्राजून
- भालू अभ्यारण (देश का पहला और इकलौता भालू अभ्यारण)
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