कोटा। कोटा संभाग में रविवार रात और सोमवार दिनभर बारिश का दौर जारी रहा। संभाग के चारों जिलों में ओलावृष्टि होने से फसलें तबाह हो गई है। एक ही रात में किसानों के लहलहाते खेत बर्बाद हो गए हैं। कृषि अधिकारियों का कहना है कि प्रारिम्भक जानकारी के अनुसार चालीस हजार हैक्टेयर से ज्यादा फसलों को नुकसान हुआ है। नैनवां में ढाई इंच बारिश हुई है। भामाशाहमंडी में पांच हजार से अधिक बोरी माल भीग गया है।
अच्छे उत्पादन की उम्मीद लगाए किसानों की सारी उम्मीदों पर पानी फिरा
मौसम के अनुकूल रहने से अच्छे उत्पादन की उम्मीद लगाए किसानों पर फिर मौसम का वज्रपात भारी पड़ गया। क्षेत्र में रविवार रात से बिगड़े मौसम के मिजाज ने अच्छे उत्पादन की उम्मीद लगाए किसानों की सारी उम्मीदों पर पानी फेर दिया। रविवार रात व सोमवार सुबह तेज हवा के साथ हुई तेज बारिश व ओलावृष्टि ने किसानों की मेहनत पर पानी फेर दिया। सुबह खेतों में फसले आड़ी पड़ी नजर आई। ऐसे में किसानों के चेहरे पर भी चिंता दिखी। इससे पहले रविवार मध्य रात्रि से मेघ गर्जन के साथ हवा व बारिश का दौर शुरू हो गया। सोमवार को भी दिनभर रूक-रूकर कर बारिश होती रही। इसी बीच सोमवार तड़के करीब साढ़े पांच बजे कुछ देर चने के आकार के ओले भी गिरे। हवा-बारिश व ओलावृष्टि से खेतों में फसलों में बरबादी का मंजर नजर आया। खेतों में सरसों, लहसुन, धनियां, गेहूं आदि की फसलें खेतों में बिछ गई। गेहूं को छोड़कर अन्य फसलों में किसानों को भारी नुकसान हुआ। धनियां, सरसों में ज्यादा नुकसान की आशंका है।
सुबह किसान खेतों में पहुंचे तो हर तरफ बरबादी का मंजर दिखा
फसलें आड़ी पडऩे से फलाव कम होगा जिसका सीधा असर फसलोत्पादन पर पड़ेगा। सुबह किसान खेतों में पहुंचे तो हर तरफ बरबादी का मंजर दिखा। किसान खराब हुई फसलों को देख चिंतित दिखे। किसानों की माने तो धनिए की फसल में ज्यादा नुकसान है। सोमवार तड़के तेज हवा व ओलावृष्टि से फसले आड़ी पडऩे के बाद सोमवार दोपहर को हुई तेज बारिश से खेतों में पड़ी धनिएं की फसल में ज्यादा नुकसान की आशंका है।
बारिश से खेतों में आडी पड़ी फसलें
क्षेत्र में सोमवार तड़के से शुरू हुई बारिश व शीतलहर से खेतों में लहलहा रही धनिए, चने व सरसों की फसल आडी पड़ गई। किसानों ने फसलों में नुकसान बताया है। दिन भर कभी तेज तो कभी हल्की बरसात का दौर जारी रहा। बरसात के कारण स्कूलों में भी बच्चों की संख्या कम रही तो बाज़ार में भी सन्नाटा पसरा रहा। अतरालिया के किसान रमेश चंद शर्मा ने बताया कि दोपहर 2 बजे झमाझम बारिश का दौर शुरू हुआ जो दोपहर तक जारी रहा। जिससे धनिए के पुष्प नष्ट हो गए वहीं सरसों के पौधे तक टूट गए।
आडी पड़ी धनिए की फसल
अरण्डखेडा क्षेत्र के आसपास के गांवों में रविवार शाम से ही मौसम परिवर्तन होकर सोमवार सुबह 5 बजें से ही बरसात का दौर शुरू हुआ जो दिनभर जारी रहा जिससे लोगों की दिनचर्या प्रभावित हुई। सोमवार को हुई तेज बरसात से धनिया व गेहूं सरसों की फसलों में नुकसान हुआ, किसानों ने बताया वर्तमान में खेतों से सरसों की फ़सल पक चुकी है वही धनिया की फसल में फुल आ रहें हैं ऐसे में दोनों ही फसलों में नुकसान की आंशका बनी हुई है। जनवरी माह के अंत में बरसात से जनजीवन प्रभावित हुआ वही दिन भर रूक रूक हो रही बरसात से राहगीरों को परेशानी का सामना करना पड़ा।
नैनवां में 60 एमएम बारिश
बूंदी जिले के नैनवां में 60 एमएम, बूंदी में 23 एमएम, हिण्डोली 13 एमएम, तालेड़ा 16 एमएम, इन्द्रगढ़ 12 एमएम एवं केशवरायपाटन 10 एमएम बारिश हुई।
शहर सहित ग्रामीण अंचलों में मध्यरात्रि से बारिश का दौर शुरू हुआ, जो सोमवार सुबह आठ बजे तक रुक-रुक कर जारी रहा। क्षेत्र में हवा का दौर दिनभर जारी रहा, जिससे जनजीवन अस्त-व्यस्त रहा। जिले में जिन-जिन गांवों में तेज हवा का रूख रहा, वहां खेतों में रबी फसलें आडी पड़ गई। इधर, गांवों में शीतलहर ने दिनभर धुजणी छुड़ाई रखी।