बचपन की बात है शायद सबको याद होगी। चौमासा यानी बरसात के मौसम के बाद जब सर्दी आने वाली होती थी, तो उनसे ठीक पहले गांव में कुछ लोग बड़े-बड़े डिब्बे और कुछ मशीने लेकर आते थे। चारों तरफ एक सफ़ेद रंग के पानी का छिड़काव करते थे। वैसे उसकी गंध बड़ी अजीब सी लगती थी लेकिन उसके बाद आस पास के सारे मच्छर ख़त्म हो जाते थे। घरवाले भी बाहर खेलने की इजाजत दे देते थे। ये सिलसिला हर साल जारी रहता। वो क्या है ना की बरसात के मौसम में कई सारे मौसमी कीड़े, मकोड़े, मक्खी और मच्छर पैदा हो जाते हैं। यूँ तो कुछ समय बाद ये अपने आप ही तड़फ तड़फ कर मर जाते हैं, लेकिन बहुत कम समय में ही ये मौसमी कीड़े कई तरह की बिमारियों को जन्म दे देते हैं। इसलिए उनको ख़त्म करने के लिए डीडीटी का छिड़काव किया जाता था। जब हम दसवीं कक्षा में गए तो इसका पूरा नाम पता चला। डीडीटी यानि “डाईक्लोरो डाईफिनायल ट्राइक्लोरोऐथेन”। धीरे-धीरे हम सब ये बात भूल गए कि साल में एक बार डीडीटी की जरुरत हमें अब भी पड़ती है। आज राजस्थान में जो हालत बने हैं, फिर से बचपन की याद ताजा हो गयी। प्रदेश में 15वीं लोकसभा के चुनाव दिसंबर 2018 में होने वाले हैं। ऐसे में वो लोग जो पिछले पांच सालों कहीं गहरी नींद में सोये पड़े थे वो भी मौसमी कीड़ों की तरह राज्य में मंडराने लगे हैं। तो लगता है फिर से कोई डीडीटी के छिड़काव की जरुरत है।
प्रदेश के लिए एक बीमारी की तरह है कांग्रेस
बात बड़ी सीधी सट्ट है। 2013 विधानसभा चुनावों में कांग्रेस बुरी तरह से हार गयी थी। 200 विधानसभा सीटों में से मात्र 21 विधानसभा सीटों पर ही जीत दर्ज़ कर पायी थी। जनता ने कांग्रेस पर ये मेहरबानी इसलिए दिखाई, क्योंकि 2008 से 2013 तक कांग्रेस की सरकार रही और इस दौरान कांग्रेस ने राजस्थान में जमकर तांडव किया। लूट, घोटाले, चोरी, स्कैम, गबन, रिश्वतखोरी। यहाँ तक की इन्होंने राज्य की महिलाओं को भी लूटने में कोई कसर नहीं छोड़ी। इसलिये जनता ने इनको सबक सिखाया। उसके बाद 2013 से जनवरी 2018 तक ये कांग्रेस वाले ना जाने कहाँ, किस कोने में सोये हुए थे। लेकिन जब इनको लगा की 2018 में चुनाव आने वाले हैं। तो उठ कर चल दिए लोगों में मलेरिया फ़ैलाने। जब तक चुनाव नहीं हो जाते ये ऐसे ही प्रदेश में लोगों के बीच जाकर बीमारी पैदा करते रहेंगे।
एक तरफ जहाँ भारतीय जनता पार्टी और मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे अपने कार्यकाल में किये गए विकास कार्यों का लेखा-जोखा जनता के सामने प्रस्तुत करने के लिए पूरे प्रदेश में राजस्थान गौरव यात्रा कर रही है। वो लोगों को बता रही है कि हमने, ये- ये काम आपके लिए किये हैं और ये- ये काम प्रगति पर हैं। हमने प्रदेश में हर क्षेत्र में विकास कार्य किये हैं। वहीँ दूसरी तरफ नींद से उठकर आये कांग्रेस के उनींदे नेता हैं, जिनकी आँखें तो अभी तक ठीक से खुली नहीं हैं और जनता के बीच में जाकर कह रहे हैं, कि मुख्यमंत्री ने पिछले पांच सालों में कोई काम नहीं किया। अरे भई जब आप खुद पिछले पांच सालों से सोये हुए हैं तो आपको क्या पता कितने काम हो गए और कितना विकास हो चूका। इनको तो यही लगता है कि राजस्थान आज भी वही बीमारू और पिछड़ा प्रदेश होगा जो उनके कार्यकाल के दौरान था। लेकिन वो ये बात नहीं जानते की राजस्थान अब पहले की तरह बीमारू और पिछड़ा प्रदेश नहीं रहा बल्कि राजस्थान आज विकसित समृद्ध, खुशहाल और अग्रणी प्रदेशों की श्रेणी में आता है। राजस्थान हर क्षेत्र में आगे बढ़ा है। शिक्षा, स्वास्थ्य, तकनीकी, रोजगार सब जगह विकास हुआ। लेकिन ये बात ना तो ये नींद में सोये हुए कांग्रेस के नेता कभी जान पाएंगे और ना ही खुद कांग्रेस के कर्ताधर्ता।
सिर्फ चुनावों में ही जनता की परवाह होती है कांग्रेस को
मगर एक बात कांग्रेस अच्छी तरह से जानती है कि मौके का फायदा कैसे उठाया जाये। पिछले पांच सालों से तो कांग्रेस के नेता कहीं गायब थे। तब ना इनको जनता की फ़िक्र थी, ना किसानों की चिंता थी और ना ही इन्हे बेरोजगारों से कोई लेना देना था। लेकिन चूँकि अब विधानसभा चुनावों का मौसम आ गया है तो अचानक से इनको चारों ओर हरियाली दिखाई देने लगी है। जनता इनको क्रेडिट कार्ड दिखाई दे रही है, किसान इनको अनाजों के गोदाम और बेरोजगार युवा इनको नगद नारायण दिखाई देने लगे हैं। जिनके कंधे पर बन्दूक रख कर ये भाजपा पर तानना चाहती है। इसीलिए तो आये दिन बंद, धरना, विरोध प्रदर्शन और सरकार के खिलाफ विद्रोह करते दिखाई देते हैं। लोगों में अराजकता और असमानता का भाव पैदा करते रहते हैं।
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इसलिए जिस तरह से हर बरसात के मौसम के बाद हम अपने आसपास के वातावरण को अवांछनीय कीटों और मच्छरों में बचाने के लिए डीडीटी का छिड़काव करते थे। आज कांग्रेस भी राजस्थान ही नहीं अपितु पुरे देश में मच्छर की तरह वायरल फ़ैलाने की कोशिश में है। इससे पहले की कोई मासूम जनता इनका शिकार बने। हम सब को मिलकर इनके ऊपर डीडीटी का छिड़काव करना होगा, और कांग्रेस का पूरी तरह से लोकतंत्र से बहिष्कार करना होगा। ताकि खुशहाल समृद्ध और विकास के पथ पर रात दिन आगे बढ़ता हमारा राजस्थान यूँ ही आगे बढ़ता जाये। कांग्रेस का कहीं नामो निशान तक नहीं हो। हम सब मिलकर एक नए भारत का निर्माण करे। एक नए राजस्थान का निर्माण करे। कांग्रेस मुक्त राजस्थान, कांग्रेस मुक्त भारत। विकसित राजस्थान, विकसित भारत।