बीकानेर। राजस्थान राज्य मंत्रालयिक कर्मचारी महासंघ के प्रदेशव्यापी आह्वान के तहत प्रदेश के विभिन्न विभागों सहित राजस्व विभाग के कर्मचारी विगत 18 अप्रेल से सामूहिक अवकाश पर चल रहे है। मंत्रालयिक कर्मचारियों की हड़ताल के कारण अन्य विभागों के साथ साथ जिला कलेक्ट्रेट, सभी उपखण्ड अधिकारी, तहसील, जिला रसद अधिकारी, अतिरिक्त जिला कलक्टर, कोषाधिकारी सहित अन्य कार्यालयों में कामकाज ठप पड़ा है। राज्य सरकार द्वारा चलाये जा रहे महंगाई राहत शिविरों पर इसका असर पड़ रहा है।
राजस्व मंत्रालयिक कर्मचारी संघ के जिलाध्यक्ष अशोकसिंह गौड ने बताया कि राज्य सरकार की वादा खिलाफी के खिलाफ महासंघ के आह्वान पर जयपुर के शिप्रा पथ, मानसरोवर मैदान में महापड़व चल रहा है। जिसमें हजारों मंत्रालयिक कर्मचारी सम्मिलित हो रहे है। गौड ने कहा कि जब तक सरकार हमारी मांगे स्वीकार नहीं कर लेती तब तक आंदोलन जारी रहेगा। संघ के मनीष शर्मा ने कहा कि मंत्रालयिक कार्मिक लंबे समय से मांग की जा रही है, परन्तु राज्य सरकार ठोस कार्यवाही नहीं कर रही है। उन्होंने कहा कि कार्मिकों की हड़ताल के कारण राजस्व विभाग के सभी काम बंद पड़े है, रजिस्ट्रियां नहीं हो रही है, विभिन्न प्रमाण पत्र नहीं बन रहे है। राजस्व विभाग व पंजीयन एवं मुद्रांक विभाग में काम ठप होने से जहां सरकार को करोडों का नुकसान हो रहा है, वहीं आमजन को परेशान होना पड़ रहा है। हड़ताल के बाजवूद सरकार गंभीर नहीं है, इससे लोगों में रोष व्याप्त है।
इस मौके पर कर्मचारी मैदान में कार्मिकों की बैठक हुई, जिसमें अशोक सिंह गौड, मनीष शर्मा, मनोज व्यास, मुजीर्बरहमान, मनीष जोशी, नरेन्द्र चौधरी, लीलाधर बोहरा, हनुमान आचार्य, नारायण स्वामी, रमेश जोइया, नंदलाल सैन, अजीतसिंह, जयदयाल, नितिनसिंह, पवन छींपा, किशोर, शहजाद, सतपाल सिंह, तेजेन्द्र, मनोज पंवार आदि उपस्थित हुए और आगामी रणनीति पर चर्चा की गई।